फेसबुक को लेकर कई तरह की नोटिस सोशल मीडिया पर थोड़े-थोड़े दिनों पर वायरल होती रहती हैं. इन दिनों एक बार फिर से फेसबुक के बारे में एक दावा किया जा रहा. इस दावे में कहा जा रहा है कि आपके द्धारा अपलोड की गई सभी फोटो को फेसबुक अपने अधिकार में लेकर सार्वजनिक कर देगा. इस संदेश में फेसबुक यूज़र से अपील की गई है कि वो स्टेटेस अपडेट के रूप में एक डिसक्लेमर पोस्ट करें जिससे फेसबुक ऐसा ना कर पाए. ये डिसक्लेमर कुछ इस तरह का है “FACEBOOK DOES NOT HAVE MY PERMISSION TO SHARE PHOTOS OR MESSAGES’’ यानि ‘’फेसबुक को मैने संदेश औऱ फोटो शेयर करने की अनुमति नहीं दी है’’ ऐसा ही एक संदेश india check को उसके whatsapp नंबर 9871996103 पर मिला है.
इस तरह के संदेश फेसबुक और ट्विटर पर भी वायरल हैं.
फैक्ट चेक
इस संदेश में से कुछ की-वर्डस निकालकर सर्च करने पर ऐसी ही नोटिस दिखाई दी जिसका फैक्ट चेक 7 साल पहले किया जा चुका है. अमेरिकी फैक्ट चेकिंग वेबसाइट snopes ने 2012 में इस संदेश का फैक्ट चेक किया था. नोटिस में कहा गया है कि फेसबुक आपके द्धारा शेयर किए गए कंटेट का मालिक बन जाएगा. लेकिन जब हमने फेसबुक के नियमों की छानबीन की तो पता चला कि आप जो भी कंटेंट फेसबुक पर बनाते या शेयर करते हैं उसका बौद्धिक संपदा अधिकार आपके पास ही रहता है.
ऐसे किसी भी कॉन्टेंट में बौद्धिक संपदा अधिकारों का स्वामित्व आपके पास होता है (कॉपीराइट या ट्रेडमार्क जैसी चीज़ें) जिसे आप बनाते हैं और Facebook पर और आपके द्वारा उपयोग किए जा रहे Facebook कंपनी के अन्य उत्पादों पर साझा करते हैं. इन शर्तों में ऐसा कुछ नहीं है जो आपके कॉन्टेंट पर आपके अधिकारों को समाप्त करता हो. आप जहाँ भी चाहें अपने कॉन्टेंट को किसी भी अन्य व्यक्ति के साथ साझा करने के लिए स्वतंत्र हैं.
फेसबुक कहता है कि बौद्धिक संपदा अधिकार के अंतर्गत जो भी कंटेंट आप अपलोड, शेयर औऱऱ पोस्ट करते हैं या ये फेसबुक के प्रोडक्ट के संबंध में होता है तो आप फेसबुक को उस कंटेंट को इस्तेमाल करने का अधिकार देते हैं लेकिन इसका मतलब ये नहीं है कि आफ सको मालिकाना हक दे रहे हैं.
हालाँकि, हमारी सेवाएँ देने के लिए, आपको हमें इस सामग्री का उपयोग करने हेतु कुछ कानूनी अनुमतियाँ (जिसे ‘लाइसेंस’ कहा जाता है) देनी होंगी. यह पूरी तरह से हमारे उत्पादों और सेवाओं को प्रदान करने और उन्हें सुधारने के उद्देश्यों के लिए है.विशेष तौर पर, जब आप ऐसी सामग्री को साझा, पोस्ट या अपलोड करते हैं, जिसे हमारे उत्पादों पर या इनसे संबंधित बौद्धिक संपदा अधिकारों से संरक्षित किया गया है, तो आप हमें अपनी सामग्री (आपकी गोपनीयता और एप्लिकेशनसेटिंग के अनुरूप) को होस्ट करने, उपयोग करने, वितरित करने, संशोधित करने, चलाने, कॉपी करने, सार्वजनिक रूप से प्रदर्शित करने या दिखाने, अनुवाद करने या उससे व्युत्पन्न कार्य को बनाने का गैर-अनन्य, स्थानांतरणीय, उप-लाइसेंस योग्य, अधिशुल्क मुक्त और विश्वव्यापी लाइसेंस प्रदान करते हैं. इसका मतलब है, उदाहरण के लिए अगर आप Facebook पर कोई फ़ोटो साझा करते हैं, तो आप हमें इसे संग्रहित करने, कॉपी करने और अन्य लोगों, (फिर से, आपकी सेटिंग के अनुरूप) जैसे हमारी सेवा का समर्थन करने वाले सेवा प्रदाताओं के साथ या आपके द्वारा उपयोग किए जाने वाले अन्य Facebook उत्पादों पर साझा करने की अनुमति देते हैं. हमारे सिस्टम से आपकी सामग्री हटा देने के बाद यह लाइसेंस समाप्त हो जाएगा.
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फेसबुक के सारे नियम और शर्तें आप यहां पढ़ सकते हैं. वायरल संदेश ये भी दावा करता है कि अगर आप डिसक्लेमर के साथ अपना स्टेटस अपडेट करते हैं तो आप UCC 1-308 औऱ Rome Statute के अंतर्गत फेसबुक पर मुकदमा कर सकते हैं.UCC 1-308 यानि Universal Commercial Code ऐसा कानून नहीं है जिसे मानना ज़रूरी है. इसका संबंध सामान की बिक्री से है. इसलिए UCC 1-308 के साथ डिसक्लेमर से फेसबुक और उसके यूज़र के बीच कानूनी एग्रीमेंट में कुछ भी नहीं बदलेगा. जहां तक Rome Statute की बात है इसका कॉपीराइट उल्लंघन से कोई मतलब है ही नहीं. इसका संबंध युद्ध अपराध, इंसानियत के खिलाफ अपराध और नरसंहार से है.
निष्कर्ष
फेसबुक के बारे में सोशल मीडिया पर ये संदेश अफवाह है. ये अफवाह थोड़े-थोड़े दिनों बाद सोशल मीडिया पर वायरल होती रहती है.
दावा- फेसबुक आपके कंटेट का मालिकाना हक ले लेगा
दवा करने वाले- सोशल मीडिया और whatsapp यूज़र
सच- दावा झूठा है