राजस्थान के पुराने वीडियो को तारेक फतह ने दिल्ली चुनाव का बताकर सांप्रदायिक रंग देने की कोशिश की

दिल्ली चुनाव में मतदान से एक दिन पहले पोस्ट किया गया एक वीडियो वायरल है. वीडियो में लोग नारे लगा रहे हैं ‘हिन्दुस्तान में रहना है तो अल्लाह-ओ-अकबर कहना होगा.’ दावा किया जा रहा है कि ये वीडियो दिल्ली का है. इसे 7 फरवरी को गीतिका स्वामी नामके ट्विटर हैंडल से पोस्ट किया गया.

अगले ही दिन यानि 8 फऱवरी को जिस दिन दिल्ली में मतदान हो रहा था कनाडा के नागरिक और लेखक तारेक फतेह ने भी यही वीडियो पोस्ट किया.

फेसबुक पर भी ये वीडियो वायरल है.

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फैक्ट चेक

सिंपल गूगल सर्च में संबधित की-वर्डस के जरिए सर्च करने पर हमे दिसंबर 2017 का एक ट्वीट मिला जिसमें यही वीडियो पोस्ट किया गया था.

इस ट्वीट से ये तो साफ हो गया कि वीडियो का संबंध दिल्ली चुनाव से नहीं है. साथ ही ये भी जाहिर होता है कि ये राजस्थान का है क्योंकि उस समय राजस्थान की मुख्यमंत्री वसुंधराराजे सिंधिया को इसमें ज़िक्र किया गया है. गूगल के ज़रिए ही कुछ और खोज करने पर हमे यूट्यूब पर इंडिया टीवी की 12 दिसंबर 2017 को एक वीडियो क्लिप मिली जिसमें इसी वीडियो को दिखाया गया था. न्यूज चैनल की रिपोर्ट के अनुसार ये वीडियो राजस्थान के उदयपुर का है. वीडियो में एक मुस्लिम युवक की हत्या के आरोपी शम्भूलाल रैगर के खिलाफ लोग प्रदर्शन कर रहे हैं. मुस्लिम सुदाय के लोगों ने ये ये प्रोटेस्ट किया था जिसमें वही नारा लगाया गया था जो वायरल है. इस दौरान शिवसेना र प्रधानमंत्री मोदी के खिलाफ भी नारेबाज़ी की गई थी. इस वीडियो को आप यहां देख सकते हैं.

इसके अलावा SCROLL ने भी इस पर रिपोर्ट की थी. रिपोर्ट के अनुसार 6 दिसंबर 2017 को राजस्थान के राजसमंद में शम्भूलाल रैगर नामके व्यक्ति ने एक मुस्लिम मज़दूर की हत्या कर दी थी. इसी के विरोध में मुस्लिम समुदाय ने ये रैली आयोजित की थी.

निष्कर्ष

तारेक फतेह ने जिस वीडियो को दिल्ली चुनाव से जोड़कर शेयर किया है वो 2 साल पुराना है. इसका दिल्ली चुनाव से कोई लेना देना नहीं है.

दावा- दिल्ली चुनाव के दौरान मुसलमानों ने हिन्दुस्तान में रहना है तो ‘अल्लाह-ओ-अकबर कहना है’ का नारा लगाया

दावा करने वाले- तारेक फतेह, गीतिका स्वामी

सच- दावा गलत है

Meenu Chaturvedi

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